जब Sarfaraz Khan, बट्टिंग Mumbai ने 18 अगस्त 2025 को चेन्नई के Gojan Cricket Ground पर Buchi Babu Invitational Tournament 2025 में 138 रन बनाकर राष्ट्रीय चयनकों को चेतावनी दी, तो यह बात पूरे क्रिकेट जगत की नजरों में आ गई। इस शतक ने न केवल मुंबई टीम को 367/5 पर दिन‑1 के अंत में सुरक्षित रखा, बल्कि यह संकेत दिया कि Gautam Gambhir, भारत के मुख्य कोच, को अब इस युवा बट्समैन को Anderson‑Tendulkar Trophy में शामिल करने पर दोबारा विचार करना पड़ेगा।
पृष्ठभूमि: बुची बाबु टुर्नामेंट 2025 का महत्व
बुची बाबु टुर्नामेंट, जो हर साल दिसंबर में नहीं बल्कि इस साल अगस्त‑सितंबर में चेन्नई में आयोजित हुआ, भारतीय टेस्ट‑सीज़न की तैयारी का एक अहम मंच माना जाता है। 18‑26 अगस्त तक चलने वाले इस टूर्नामेंट में TNCA XI, Haryana और अन्य राज्य‑संघ टीमें भाग ले रही थीं। इस दौरान नेशनल सिलेक्शन कमेटी के प्रमुख स्काउट्स भी युवा दिग्गजों को नज़र में रख रहे थे।
विस्तृत दृश्य: दो शतक और उनका सफर
पहला शतक: Sarfaraz Khan ने जब TNCA XI के खिलाफ 98/3 के दुरस्थ स्थिति से टीम में कदम रखा, तब वह 114 गेंदों में 138 रन बना कर सभी को चकित कर दिया। 10 चौके और 6 छक्के, स्ट्राइक‑रेट 121.05 के साथ, उन्होंने अपने शुरुआती बॉल‑फ़ेसिंग को Manimaran Siddharth (बायें‑हाथ का स्पिनर) के खिलाफ 49 रन (42 गेंद) तक ले गया, जिसमें 3 चौके और 2 छक्के शामिल थे। साथ ही Mohamed Ali (ऑफ़‑स्पिनर) को 28 रन (14 गेंद) में ही सराबोर कर दिया। वह 92 गेंदों में सैंकड़ा बना, जिसमें ऊपरी कट से विकेट‑कीपर के ऊपर से चला ट्रांसफॉर्मेटिंग शॉट यादगार रहा।
दूसरा शतक: केवल दो दिन बाद, 20 अगस्त को Haryana के खिलाफ Sarfaraz Khan ने 111 रन (112 गेंद) बनाकर फिर से सबको हैरान कर दिया। इस समय मुंबई 84/4 पर घबरा रहा था, लेकिन उन्होंने 99 गेंद में सैंकड़ा बना कर Ishant Bharadwaj (हैरानी‑जनक छक्का) को मारते हुए खुशी का इज़हार किया — हेल्मेट उतार कर भीड़ को सलाम किया। इस शतक के बाद वह 111 पर Parth Vats के हाथों से बाहर हो गया।
- 138/114 (10×4, 6×6) बनाम TNCI XI – 18‑अगस्त
- 111/112 (9×4, 5×6) बनाम Haryana – 20‑अगस्त
- स्ट्राइक‑रेट दोनों शतक में 120+
- दोनों शतक के बाद मुंबई का स्कोर 367/5 और 346/9 क्रमशः
प्रतिक्रिया: कोच, चयनकर्ता और टीम से आवाज़ें
बुची बाबु टुर्नामेंट के बाद, मुंबई के कप्तान Ayush Mhatre ने “Sarfaraz का अटैकिंग मोड हमें बड़े स्कोर की ओर ले गया” कहा। वहीं, भारत के मुख्य कोच Gautam Gambhir ने अभी तक सार्वजनिक रूप से इस प्रदर्शन पर टिप्पणी नहीं की, पर कई अंदरूनी रिपोर्ट्स से पता चलता है कि चयनकों के पास अब “सेलेक्शन‑फ्रंट” में दो विकल्प हैं: या तो अनुभव‑साथी को बनाए रखें, या फॉर्म‑फिट बट्टिंग को मौका दें।
भारतीय क्रिकेट बोर्ड (BCCI) के एक प्रवक्ता ने बताया, “हम सभी घरेलू टूर्नामेंट्स को बारीकी से देखते हैं। Sarfaraz की लगातार दो शतकें देखते हुए हम उनका डाटा राष्ट्रीय चयन समिति को भेज देंगे।”

विस्तृत प्रभाव: टेस्ट चयन पर क्या असर पड़ेगा?
अगले महीने 2 अक्टूबर से शुरू होने वाले भारत‑वेस्ट इंडीज़ टेस्ट सीरीज में दो पिचों पर देर‑नशंटिंग डेटा चाहिए, जहाँ स्पिनर का रोल महत्वपूर्ण होगा। India vs West Indies Test series 2025 के लिए अब चयनकर्ताओं को यह देखना होगा कि क्या Sarfaraz की बॉल‑फ़ेसिंग, विशेषकर स्पिन के खिलाफ, टेस्ट‑फ़ॉर्मेट में ट्रांसलेट हो सकती है। अगर वे उन्हें शामिल करते हैं, तो यह उनकी 11 टेस्ट रेकॉर्ड (371 रन, औसत 37.10) को एक नया मोड़ दे सकता है।
एक पूर्व खिलाड़ी और अब क्रिकेट विश्लेषक Sunil Joshi ने कहा, “Sarfaraz का तकनीक‑प्रवर्तन, विशेषकर बायां‑हाथ स्पिनर के खिलाफ, भारत की अगली पिचों के लिए उपयुक्त है। अगर उन्हें मौका मिला, तो वे एक भरोसेमंद टॉप‑ऑर्डर बॉलर बन सकते हैं।”
आगामी कदम: क्या हमें Sarfaraz को टेस्ट में देखेंगे?
टूर्नामेंट के अंतिम दिन, 26 अगस्त को Mumbai ने 346/9 पर अपना कोटा पूरा किया, जहां Shams Mulani ने 50* और Tanush Kotian ने 48 रन का योगदान दिया। इस जीत के साथ मुंबई टेबल पर दूसरी जगह पर स्थापित हुआ। अब सवाल यह है कि क्या चयनकर्ता इस फॉर्म को सिर्फ ‘डोमेस्टिक’ मानेंगे या इसे अंतरराष्ट्रीय स्तर पर भी उतारा जाएगा। अगले दो हफ्तों में होने वाली नजदीकी टीम मीटिंग्स और फिटनेस टेस्ट्स के बाद ही अंतिम फैसला साफ़ होगा।

पिछला इतिहास: बुची बाबु टुर्नामेंट और भारतीय टेस्ट तैयारी
बुची बाबु टुर्नामेंट का इतिहास 1940 के दशक तक जाता है, जब यह पहले एक ट्रॉफी‑टूर्नामेंट के रूप में शुरू हुआ। पिछले वर्षों में इस मंच पर Mayank Agarwal, Prithvi Shaw जैसे खिलाड़ी ने शान‑शौकत से प्रदर्शन किया और बाद में राष्ट्रीय टीम में जगह बनाई। इस साल का टुर्नामेंट भी यही उम्मीदें लेकर आया कि नई पीढ़ी के बट्टमैन अंतरराष्ट्रीय बुलंदियों पर कदम रखेंगे।
अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्न
Sarfaraz Khan के इस प्रदर्शन से भारत की टेस्ट टीम को क्या फायदा हो सकता है?
दो लगातार शतक दिखाते हुए उनकी स्टेमिना और स्पिन‑बॉल वर्किंग दोनों ही टेस्ट‑फ़ॉर्मेट के लिए महत्त्वपूर्ण हैं। अगर चयनकर्ता उन्हें टीम में शामिल करते हैं, तो भारतीय मिड‑ऑर्डर को अधिक मजबूती मिल सकती है, विशेषकर उन पिचों पर जहाँ स्पिनर को मुख्य भूमिका निभानी पड़ती है।
क्या Gautam Gambhir ने Sarsaraz को Anderson‑Tendulkar Trophy में नहीं चुना तो क्या इसका मतलब है कि उन्हें टेस्ट में मौका नहीं मिलेगा?
कोच की प्राथमिक पसंद अलग हो सकती है, पर चयनामंत्रियों की लिस्ट अक्सर अलग रहती है। बारीकी से देखे गए घरेलू आँकड़े, फिटनेस टेस्ट और टीम की आवश्यकताओं पर अंतिम निर्णय लिया जाएगा।
Buchi Babu Invitational Tournament 2025 में कुल कितनी लक्ष्य‑रनें बनीं?
टूर्नामेंट के पाँच मैचों में कुल 1,587 रन बनें, जिसमें सबसे बड़ी स्कोर 367/5 (Mumbai बनाम TNCA XI) और 346/9 (Mumbai बनाम Haryana) थे।
India vs West Indies Test series 2025 कब शुरू होगी और क्यों महत्वपूर्ण है?
सीरीज 2 अक्टूबर 2025 को शुरू होगी। यह भारत के घरेलू पिचों पर स्पिन‑बॉल के प्रयोग की जांच में महत्वपूर्ण माना जा रहा है, क्योंकि वेस्ट इंडीज़ के बॉलरों ने पिछले दौर में तेज़ गति और साइड‑आर्म दोनों प्रकार के बॉल दिखाए थे।
Sarfaraz Khan के आने वाले मैचों में कौन‑कौन से प्रतियोगी टीमों से सामना होगा?
Buchi Babu टुर्नामेंट समाप्त होने के बाद मुंबई को आगामी Challenger Trophy और Ranji Trophy के क्वार्टर‑फ़ाइनल में दलेरु और Karnataka जैसी टीमों का सामना करना पड़ेगा, जहाँ उनकी फॉर्म का फिर से परीक्षण होगा।
parvez fmp
अक्तू॰ 15, 2025 AT 23:19 अपराह्नभाईयो और बहनो, Sarfaraz के दो शतक देख के पूरा मन कण्डक्शन हो गया 🤯! पहले शतक में उसने 138 रन बनाकर हर बॉल को ऐसे मार डाला जैसे वो टिंडर पर swipe right कर रहे हों। 10 चौके और 6 छक्के तो जैसे कोई fireworks show हो 🎆। दो दिन बाद फिर 111 बनाकर दुबारा सारे को बता दिया कि वह सिर्फ एक टेम्पररी फॉर्म नहीं है, बल्कि लंबी दूरी की बॅटिंग में महारत रखता है। उसकी स्ट्राइक‑रेट 120+ तो ‘अरे यार’ वाक़ई में एकदम पावर‑पैक्ड है। इस तरह की लगातार परफ़ॉर्मेंस देखते हुए कोच को सलेक्शन मीटिंग में उसका नाम ज़रूर लाना चाहिए था, पर अभी तक नहीं किया। लेकिन बात यही है कि अगर वेस्ट इंडीज़ की पिच पर स्पिन का रोल बढ़ेगा तो Sarfaraz का बायां‑हाथ स्पिनर के खिलाफ खेलना बहुत फायदेमंद हो सकता है। इस टुर्नामेंट के आँकड़े दिखाते हैं कि वह टीम को 367/5 या 346/9 जैसे बड़े टोटल तक ले जाने में सक्षम है। बॉटम‑ऑर्डर की फ़ॉल्ट लाइन्स पर भी वह भरोसेमंद फिक्स्ड प्ले बनाता है। अगर वह टेस्ट में जगह पाता है तो भारतीय मिड‑ऑर्डर को नए‑नवीन ऊर्जा मिल सकती है। चैंपियनशिप के बाद भी उसका फ़ॉर्म जारी रखने के लिए फिटनेस टेस्ट पास करना पड़ता है, लेकिन मेरे ख़याल से वह इस बार कोऑर्डिनेटर्स को अपनी सबसे बड़ी वजह देगा। अंत में, यह कहना ज़रूरी है कि Sarfarak की परफ़ॉर्मेंस को सिर्फ डोमेस्टिक नहीं, बल्कि इंटरनैशनल स्तर पर भी देखना चाहिए। 🙌