प्रकोप रोकथाम: छोटे कदम, बड़ा असर
आपदा अचानक आती है — भारी बारिश, भूस्खलन, लू या हवा का तूफान। क्या आप तैयार हैं? हाल के समाचार जैसे चमोली में भारी बारिश और उत्तराखंड में मानसून आगमन की चेतावनियाँ दिखाती हैं कि तैयारी जरूरी है। यहाँ ऐसे साधारण और असरदार उपाय दिए गए हैं जिन्हें आप आज ही अपनी रोज़मर्रा की ज़िंदगी में लागू कर सकते हैं।
आपात किट और परिवार की योजना
सबसे पहले एक आपात किट बनाएं। इसमें आवश्यक चीज़ें हों: पानी (कम से कम 3-4 लीटर प्रति व्यक्ति), गैर-नाश होने वाला भोजन, टॉर्च और अतिरिक्त बैटरी, प्राथमिक चिकित्सा किट, जरूरी दवाइयाँ, मोबाइल चार्जर और पावर बैंक, नक़ल दस्तावेज़ और कुछ नक़दी। किट को घर के एक साफ़, आसानी से पहुँचने वाले स्थान पर रखें।
फैमिली प्लान बनाएं: घर में हर सदस्य को बताएं कि इमरजेंसी में कहाँ मिलना है, किस नंबर पर कॉल करना है और निकास मार्ग कौन सा है। बच्चों और बुज़ुर्गों के लिए विशेष जिम्मेदारियाँ तय कर लें। अपने पड़ोसियों के साथ भी संपर्क रखें — अक्सर मदद पास ही मिलती है।
मौसम अलर्ट समझना और व्यवहार
मौसम विभाग (IMD) और स्थानीय प्रशासन के अलर्ट पढ़ें और फ़ॉलो करें। जैसे दिल्ली में कोहरे से उड़ानों पर असर या मौसम विभाग के लू और बारिश के अलर्ट—यह सब समय रहते कार्रवाई का संकेत है। फेक सूचनाओं से बचें; केवल आधिकारिक चैनल और भरोसेमंद समाचार साइट देखें।
बारिश और बाढ़: पानी की दिशा देखें, बेसमेंट या निचले घरों को ऊँचा रखें और बिजली के सॉकेटों को सुरक्षित करें। अगर बाढ़ का खतरा हो तो ऊँचे स्थान पर जाएँ और बिजली बंद कर दें। भूस्खलन वाले इलाके में भारी बारिश में न निकले — जैसे चमोली की घटनाओं में प्रशासन ने बचाव दल भेजे होते हैं।
लू और गर्मी: धूप में बाहर निकलना कम करें, पानी और इलेक्ट्रोलाइट्स नियमित लें, हल्के कपड़े पहनें। ठंडा पानी, छाँव और रात में अतिरिक्त सावधानी रखें।
आपात स्थिति में क्या न करें? पैनिक में गाड़ी चलाना, अनौपचारिक बचे लोगों की अफवाहों पर भरोसा करना या बिना जानकारी के खतरनाक जगहों की तरफ़ जाना बंद करें। प्रशासन और रेस्क्यू टीम के निर्देशों का पालन करें।
समुदाय की ताकत कम मत समझिए। छोटे-छोटे अभ्यास (ड्रिल), पड़ोस में सबसे ज़रूरी स्वास्थ्य और ज़मीनी जानकारी साझा करना और स्थानीय बचाव समूह बनाना घटनाओं के असर को घटा देता है। न्यूज में दिखने वाली रिपोर्ट्स—जैसे उड़ानों का प्रभावित होना या स्थानीय बचाव कार्य—हमें याद दिलाती हैं कि तैयारी जीवन बचाती है।
अंत में, तैयार रहना एक जिम्मेदारी है, न कि केवल विकल्प। आज ही अपने घर की चेकलिस्ट बनाएं, आपात किट तैयार करें और मौसम अलर्ट के नोटिफिकेशन ऑन कर लें। एक छोटा कदम आपकी और आपके परिवार की बड़ी सुरक्षा बन सकता है।
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